॥ श्री आञ्जनेय द्वादश नाम स्त्रोतम ॥
हनुमानंजनासूनुः वायुपुत्रो महाबलः ।
रामेष्टः फल्गुणसखः पिंगाक्षोऽमितविक्रमः ॥ १॥
उदधिक्रमणश्चैव सीताशोकविनाशकः ।
लक्ष्मण प्राणदाताच दशग्रीवस्य दर्पहा ॥ २॥
द्वादशैतानि नामानि कपींद्रस्य महात्मनः ।
स्वापकाले पठेन्नित्यं यात्राकाले विशेषतः ।
तस्यमृत्यु भयंनास्ति सर्वत्र विजयी भवेत् ॥
हनुमानजी के 12 नाम
1- हनुमान
2 – अंजनिपुत्र
3 – वायुपुत्र
4 – महाबल
5 – रामेष्ट
6 – फाल्गुनसखा
7 – पिंगाक्ष
8 – अमितविक्रम
9 – उदधिक्रमण
10 – सीताशोकविनाशन
11 – लक्ष्मणप्राणदाता
12 – दशग्रीवस्य दर्पहा
यह १२ नाम हनुमान जी के महात्मय को बताते हैं ।बुरे समय में , यात्रा करते समय में तथा विशेष रूप से इसका जप करने से मृत्यु का भय नहीं होता है और वह हर जगह विजयी होता है।
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